Monday , 25 November 2024

प्रधानमंत्री मोदी ने श्री काशी विश्वनाथ के दरबार में लगाई हाजिरी, जीत का मांगा आर्शीवाद

-मंदिर के गर्भगृह में प्रधानमंत्री ने षोडशोपचार विधि से पावन ज्योतिर्लिंग का किया खास पूजन

वाराणसी  (हि.स.)। वाराणसी लोकसभा क्षेत्र से तीसरी बार भाजपा प्रत्याशी बनाए जाने के बाद शनिवार की शाम प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने प्रचंड जीत की कामना से काशीपुराधिपति के स्वर्णिम दरबार में विधिवत हाजिरी लगाई। मंदिर के अर्चक पं. श्रीकांत पांडेय ने वैदिक मंत्रोच्चार के बीच मंदिर के स्वर्णमंडित गर्भगृह में बाबा के पावन ज्योतिर्लिंग का अभिषेक कराया। फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी के सिद्ध योग में प्रधानमंत्री के माथे पर चंदन का लेपन कर विजय का मंत्र भी पढ़ा। इस दौरान प्रधानमंत्री ने भी काशीपुराधिपति के प्रति अनुराग, श्रद्धाभाव दिखाते हुए मंत्रोच्चार का उच्चारण कर बाबा का अभिषेक किया।

दर्शन पूजन के बाद प्रधानमंत्री ने त्रिशूल और डमरू हाथ में लेकर विजय मुद्रा में मंदिर में मौजूद शिवभक्तों का अभिवादन किया। इस दौरान प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी शिवभक्ति में डूबे नजर आए। काशी के 45वें दौरे पर आए प्रधानमंत्री का काशी विश्वनाथ धाम में मंदिर न्यास के अध्यक्ष प्रो. नागेन्द्र पांडेय और अन्य पदाधिकारियों ने स्वागत किया। काशी विश्वनाथ मंदिर में विधिवत दर्शन पूजन करने के बाद प्रधानमंत्री बरेका गेस्ट हाउस के लिए रवाना हो गए।

इसके पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी सायंकाल बाबतपुर स्थित लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचे। एयरपोर्ट के बाहर हजारों की संख्या में एकत्रित भाजपा कार्यकर्ताओं और काशीवासियों ने ढोल, नगाड़ों, डमरू व शंखनाद के साथ ही गुलाब की पंखुड़ियों की वर्षा कर हर-हर महादेव एवं जय श्रीराम के उद्घोष के बीच अभूतपूर्व स्वागत किया। वहां से प्रधानमंत्री का काफिला काशी विश्वनाथ मंदिर के लिए रवाना हुआ। पूरे यात्रा मार्ग में जगह-जगह भाजपा की तरफ से बनाये गए स्वागत प्वाइंटों पर बड़ी संख्या में पार्टी कार्यकर्ता एवं काशीवासी मौजूद थे। पीएम मोदी का काफिला जैसे ही स्वागत प्वाइंट के नजदीक पहुंचता, हर-हर महादेव और जय श्रीराम के उद्घोष साथ ही गुलाब की पंखुड़ियों की वर्षा कर लोग पीएम का स्वागत करते नजर आये। काशीवासियों का प्यार, दुलार और अपनत्व के भाव से अभिभूत पीएम मोदी खुद को रोक नहीं पाए और हाथ हिलाकर उनका अभिवादन स्वीकार करते आगे बढ़ते रहे।

Check Also

महाकुम्भ : तीनों वैष्णव अखाड़ों के प्रमुख संतों की उपस्थिति में सम्पन्न हुआ शेष अखाड़ों का आवंटन

कुम्भ क्षेत्र में सभी 13 अखाड़ों की भूमि आवंटन की प्रक्रिया हुई पूरी –अखाड़ों ने …